Lessons - Inspiration - War | सीख - प्रेरणा - युद्ध खोलें

निर्भया जैसी घटनाओं के संदर्भ में
From the heart of Rachit, author Gajendra D.
- रचित के मन से -

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सुना है की वो आवाज उठाना चाहती थी
और ऐसा हाल कर दिया उसका
समझ सकता हूँ बहना मैंने भी
कोशिश करी आवाज उठाने की
और क्या हाल हो गया है मेरा

एक रति भर भी संघर्ष नहीं मेरा तेरे सामने
लेकिन फिर भी जिंदगी है इतनी मुश्किल
फिर क्या हाल हुआ होगा तेरा

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कैसे तूने हार नहीं मानी आखिरी दम तक
समझ नहीं सकता, मैं तो थोड़ा सा
कुछ होते ही, हारने लग जाता हूँ

एक बार भी उनसे मिल जाती, इतना डर
और खौफ देख कर, तो जान बच जाती
लेकिन फिर भी तू रुकी नहीं डरी नहीं
आखिरी दम तक लड़ती रही
इस बात से अब प्रेरणा लेता रहता हूँ

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सुना है सब तुम्हारे साथी थे, हाँ कुछ
ऐसी ही बात है मेरी भी लेकिन,
साथ तुझे मिला है दुनिया का अब,
साथ मिला मुझे भी, अच्छे लोग है अभी तो
और संघर्ष भी, ख़तम होता है कभी तो

हाँ लेकिन तू है ही नहीं महसूस करने को अब
फिर भी संघर्ष तेरा व्यर्थ नहीं है,
एक आवाज तूने छेड़ तो दी है,
छोटी सी जिंदगी में ही तूने
संघर्ष और हिम्मत की,
बहुत बड़ी ऊंचाईया कायम की है

थोड़ी बहुत मुश्किलें तो हम भी झेल लेंगे
गलत के खिलाफ तूने तो जिंदगी दी है

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शिक्षा इस बात की बहुत बड़ी है की,

तूने आवाज उठानी चाही
और "हाँ" नहीं बोला गलत के लिए
चाहे सांसे बिखरती रही

थोड़ा सा ही गलत हो चाहे, हम भी आवाज उठाएंगे
चाहे कोई कहे "इतनी सी ही तो बात है", नहीं रुकेंगे
बड़े से बड़ा अपराध, छोटे स्तर पर ही तो
शुरू होता है, अब उसको वहीं ख़तम करेंगे

अपने स्तर पर कोशिशों से दिशा बदलती है,
ये बात हम समझेंगे, वोट हम सही से देंगे और,
लालच में आकर भ्रष्टाचार में भाग नहीं लेंगे

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युद्ध शस्त्रों का कोई होने नहीं वाला अब
युद्ध संख्या बल का है
युद्ध है एकता का और
युद्ध संस्कृति बचाने का है
युद्ध नहीं होने वाला मैदानों में अब
युद्ध तेरे घर से ही चलने वाला है
शस्त्रों से लड़ने वाला युद्ध नहीं है ये तुझको समझना है
सही दिशा ज्ञान दृष्टि देना अपनों को
यही एक मात्र रास्ता इसका निकलना है

युद्ध आवाज कायम रखने का है
चुप बैठने का वक़्त नहीं ये
युद्ध न्याय की मांग करने का है
नहीं मिलने तक रुकने का नहीं ये
युद्ध है डर बैठाने का
दरिंदो के मन में
जो खौफ उसने झेला है
उसकी झलक अपराधी को दिखाने का है

कोई जगह नहीं जाकर, राक्षस का संहार करने की
युद्ध रखना है जारी लेकिन, तेरे घर से ही चलने वाला है |